2019 लोकसभा चुनाव को लेकर कई तरह के समीकरण बन रहे हैं. इस बीच दिल्ली में आप और कांग्रेस का गठबंधन भी देखने को मिल सकता है.
सभी पोलिटिकल पार्टियां 2019 के विधानसभा और लोकसभा चुनाव की तैयारी में लग गई हैं. विपक्षी पार्टियां किसी भी तरह मोदी का विजयरथ तोड़ना चाहती हैं. हाल ही में 5 राज्यों में विधानसभा चुनाव हुए थे. इस 5 में से 3 राज्यों में कांग्रेस को जीत मिली. कांग्रेस की जीत से अन्य पार्टियों को एक आशा की किरण नजर आई है. इस बीच अगले साल लोकसभा चुनाव में बीजेपी को रोकने के लिए महागठबंधन की तैयारी जोरों पर है.
गठबंधन का तंज अब दिल्ली में भी देखने को मिल सकता है. दरअसल दिल्ली में लोकसभा सीटों के लिए आम आदमी पार्टी (AAP) और कांग्रेस के बीच गठबंधन की चर्चा लंबे समय से है. दोनों ही पार्टियां काफी बार चुनाव से पहले गठबंधन करने की बात भी कर चुकी है.
पिछले कुछ दिनों से तो इस मुद्दे पर चुनावी गहमागहमी और भी ज्यादा बढ़ गयी है. कांग्रेस के बड़े नेता अब तक इस मुद्दे पर चुप्पी साधे हुए थे, लेकिन बुधवार को दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित ने अहम बयान देकर गठबंधन को लेकर नई हवा दे दी है.
एक इंटरव्यू में बातचीत करते हुए शीला दीक्षित ने कहा कि हाई कमान जो भी फैसला लेगा, वह हमें स्वीकार होगा. पूर्व सीएम का ये बयान इस बात की तरफ साफ इशारा कर रहा है कि गठबंधन दोनों पार्टियों की लिए काफी अहम है.
शीला दीक्षित के अलावा आम आदमी पार्टी के संयोजक और दिल्ली के मुख्यमंत्री ने भी गठबंधन की तरफ इशारा किया था. केजरीवाल ने 1984 में हुए दंगे के आरोपी सज्जन कुमार को सजा मिलने के बाद इंटरव्यू में कहा था कि सज्जन कुमार को जो सजा हुई है हम उसका स्वागत करते हैं. उम्मीद करता हूं इस मामले में जितने और नेता शामिल हैं उन्हें सख्त से सख्त सजा मिलेगी.
इस दौरान केजरीवाल ने गठबंधन के सवाल पर कहा था कि बता देंगे. केजरीवाल के जवाब से साफ़ है कि दोनों पार्टियों के बीच कुछ पक रहा है.
